Gulon me rang bhare - Haider



बड़ा है दर्द का रिश्ता, बड़ा है दर्द का रिश्ता........
 दर्द का रिश्ता........
बड़ा है दर्द का रिश्ता, बड़ा है दर्द का रिश्ता.......
बड़ा है दर्द का रिश्ता, ये दिल गरीब सही
तुम्हारे नाम पे आयेंगे ग़म\-गुसार चले

गुलों में रंग भरे बाद\-ए\-नौ\-बहार चले
चले भी आओ के गुलशन का कार\-ओ\-बार चले

क़फ़स उदास है यारो सबा से कुछ तो कहो
कहीं तो बहर\-ए\-ख़ुदा आज ज़िक्र\-ए\-यार चले

जो हम पे गुज़री सो गुज़री मगर शब\-ए\-हिज्राँ
हमारे अश्क तेरी आकबत सँवर चले

मकाम 'फ़ैज़' कोई राह में जँचा ही नहीं
जो कू\-ए\-यार से निकले तो सू\-ए\-दार चले

कभी तो सुबह तेरे कुंज\-ए\-लब से हो आग़ाज़
कभी तो शब सर\-ए\-काकुल से मुश्कबार चले

हुज़ूर\-ए\-यार हुई दफ़्तर\-ए\-जुनूँ की तलब
गिरह में ले के गिरेबाँ का तार तार चले



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